https://www.youtube.com/user/TVNewsIndia

*नई दिल्ली TNI*

*दलालों के जमघट ने डूबो दी रमेश पोखरियाल निशंक की लुटिया*

*आखिरकार केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक की लुटिया डूब ही गई। पहले भी उत्तराखंड के मुख्यमंत्री रहते हुए निशंक पर भ्रष्टाचार के भारी आरोप लगे थे उसी कारण भारतीय जनता पार्टी हाईकमान ने उन्हें उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पद से चलता कर दिया था बाद में रमेश पोखरियाल निशंक नेपथ्य में चले गए धीरे धीरे पार्टी मे और संघ की चरण वंदना करके हरिद्वार लोकसभा का टिकट ले उड़े पार्टी ने उन्हें यह समझ कर भारत सरकार में मंत्री बना दिया शायद निशंक ने पुरानी घटनाओं पर सबक लेते हुए अपने आप में सुधार किया होगा।*

*लेकिन भारत सरकार में मानव संसाधन जैसा भारी भरकम मंत्रालय मिलते ही रमेश पोखरियाल निशंक अपने पुराने ढर्रे पर चल पड़े चाहे किसी की सिफारिश हो चाहे राष्ट्रीय स्वंसेवक संघ के तुर्रम खां की अनुशंसा हो केंद्रीय विद्यालय के प्रवेश एवं विश्वविद्यालय के प्रवेश में भारी भरकम पैसों की मांग रमेश पोखरियाल के दलालों द्वारा की जाने लगी, जो प्रार्थना पत्र मंत्री जी को दिया जाता था वही प्रार्थना पत्र दलालों के पास कैसे पहुंच जाता था यह रहस्य है, दलाल प्रार्थना पत्र में लिखे हुए मोबाइल नंबर पर फोन करके संबंधित प्रार्थी को बुलाते थे और सौदेबाजी करते थे,अगर सौदा पट गया तो एडमिशन हो गया नहीं तो कह दिया जाता था कोटा खत्म हो गया है अगले वर्ष देखा जाएगा।*

*पौड़ी गढ़वाल से लेकर देहरादून हरिद्वार से दिल्ली तक के बड़े-बड़े दिग्गज रमेश पोखरियाल निशंक के पास केंद्रीय विद्यालय मे अपने मिलने वालों के बच्चों के प्रवेश के लिए सिपारस करते थे।*

*केंद्रीय मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक उनका घर आगमन पर साल ओढ़ा कर स्वागत तो करते थे और उन्हीं के सामने प्रार्थना पत्र पर प्रवेश स्वीकृत लिखकर भी दिखा देते थे, मैंने आपका यह कार्य कर दिया है इतना ही नहीं अपने मिलने जुलने वालों को निशंक गाड़ी तक छोड़ने आते थे। लेकिन बाद में उनके प्रार्थना पत्रों को दलालों के हवाले कर दिया जाता था फिर दलाल उन्हें इधर उधर की बातें करके मंत्रालय में बुलाते थे, मंत्री जी की कोठी पर बुलाते थे, जो मनचाही कीमत देता था वह एडमिशन पाने में सफल हो जाते थे, बाकी के लोगों को यह कह दिया जाता था इस वर्ष का कोटा खत्म हो गया है अगले वर्ष आपकी सेवा जरूर करेंगे।*

*धीरे धीरे मानव संसाधन विकास मंत्रालय एवं रमेश पोखरियाल निशंक का घर दलालों का अड्डा बन गया जो मंत्री जी के चंगू मन्गू थे वह उन्हीं का फोन उठाते थे, जहां से कुछ प्राप्ति होने की संभावना हो, बाकी सब के साथ टालमटोल कर दिया जाता।*

*निशंक के भारत सरकार मे मन्त्री बनते ही बेटियां और दामाद दिल्ली मे छा गए,मंत्रालय से लेकर मन्त्री जी की कोठी तक इन्ही का बोलबाला था यहां वही प्रवेश पा सकते थे जिसके ऊपर मन्त्री या बेटी या दामाद सहित उनकी गणेश परिक्रमा करने वालों की पहुंच थी,हर चीज का रेट मार्केट मे का विषय बन गया था।*

*दिल्ली में आजकल जब से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बने हैं दलालों की दलाली बंद है। फाइव स्टार होटल में बैठकर मजमा लगाने वाले दलाल गायब हैं। ऐसे में मानव संसाधन विकास मंत्रालय में चल रही भ्रष्ट गतिविधियों की जानकारी जल्दी ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तक पहुंचने लगी। पीएमओ को जब इन सारी कारगुजारियों का पता लगा तो आनन-फानन में उनके मंत्रालय आने पर रोक लगा दी गई। अगर प्रधानमंत्री अपने ही सहयोगी मंत्री को बर्खास्त करते तो उन्हीं की बदनामी होने का डर था इसलिए कुछ दिनों तक निशंक को ढक्कन बनाकर रखा गया और बाद में उन्हें मंत्रालय से इस्तीफा लेकर चलता कर दिया गया।*

*इतना ही नहीं पार्टी मे गहरा मंथन जारी है हो सकता है। रमेश पोखरियाल निशंक को हरिद्वार लोकसभा से 2024 चुनाव लड़ने से रोक दिया जाए और उन्हें पार्टी का प्रत्याशी ना बनाया जाए तो कोई बड़ी बात नहीं होगी।*

*बहरहाल मन्त्री पद तो निशंक का चला ही गया है, लेकिन कई मामले ऐसे हैं जिन की छानबीन के लिये राष्ट्रपति के यहां दस्तावेज मुहैया कराए हैं, अगर उनमे जांच हुई तो रमेश पोखरियाल निशंक का राजनीतिक जीवन भी अन्धकार मे समा सकता है।*
*

*सत्यम श्रीवास्तव*
*प्रधान संपादक*
*TNI न्यूज़ एजेंसी*
*नई दिल्ली*

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *